माय फर्स्ट हिन्दी पोएम...!


आओ ! माँ ने पुकारा है

धरती का आँचल सजाने

फूलों,पत्तों,पौधों से

आओ उसकी मांग सजाएं ,

हरी,हरी हरियाली से


आओ! माँ ने पुकारा है,

हर प्यासे की प्यास बुझाने

हर अंधे को राह दिखने,

हर बाग़ में फूल खिलाने,

आओ दिल से दिल मिलाना है!


आओ! माँ ने पुकारा है,

आज नव संदेश फैलाना है

अंधेरे को मिटाना है,

प्रकाश का दीप जलना है,

मशाल हाथ लिए हमको आगे बढ़ते जाना है!

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